IPL 2025 को भारत और पाकिस्तान के बीच बढ़ते तनाव के कारण कुछ समय के लिए स्थगित कर दिया गया था। इस तनाव की वजह से लीग को बीच में ही रोकना पड़ा और कई विदेशी खिलाड़ी अपने-अपने देशों को लौट गए थे। हालाँकि बाद में जब यह खबर आई कि भारत और पाकिस्तान के बीच सीज़फायर लागू हो चुका है, तो BCCI ने IPL को फिर से शुरू करने की घोषणा की और सभी खिलाड़ियों को वापसी का संदेश भेजा गया।
IPL 2025 में विदेशी खिलाड़ियों की वापसी पर सस्पेंस
हालांकि खिलाड़ियों को वापस बुला लिया गया है, लेकिन अब भी कई विदेशी खिलाड़ियों खासकर ऑस्ट्रेलियाई प्लेयर्स की वापसी को लेकर संशय बना हुआ है। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, ऑस्ट्रेलिया के खिलाड़ी IPL 2025 में दोबारा शामिल नहीं होना चाहते। क्रिकेट ऑस्ट्रेलिया भी नहीं चाहता कि उनके खिलाड़ी वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप (WTC) फाइनल से पहले थकान या चोट का शिकार हों। WTC फाइनल 11 जून से शुरू होना है, और ऑस्ट्रेलियाई टीम 6 जून को इंग्लैंड पहुंच सकती है। ऐसे में बोर्ड उन्हें IPL में दोबारा खेलने के लिए मजबूर नहीं कर रहा।
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BCCI का कड़ा रवैया और नया नियम
BCCI ने IPL 2025 के लिए एक सख्त नियम लागू किया है। यह नियम उन खिलाड़ियों पर लागू होता है जो बीच टूर्नामेंट से अपने देश लौट जाते हैं या बिना उचित कारण के टूर्नामेंट से दूरी बना लेते हैं। BCCI ने स्पष्ट किया है कि ऐसे खिलाड़ियों को दो वर्षों के लिए IPL से बैन कर दिया जाएगा।
यह नियम पहले ही इंग्लैंड के खिलाड़ी हैरी ब्रूक पर लागू किया जा चुका है, जो बिना कारण IPL छोड़कर चले गए थे। अब यही सख्ती ऑस्ट्रेलियाई खिलाड़ियों पर भी देखने को मिल सकती है, अगर वे वापस नहीं लौटते हैं।
किन खिलाड़ियों की वापसी पर है सस्पेंस?
जिन खिलाड़ियों की वापसी पर संशय है, उनमें ज़्यादातर ऑस्ट्रेलियाई खिलाड़ी शामिल हैं। पंजाब किंग्स की टीम में मार्कस स्टोइनिस, ग्लेन मैक्सवेल, मिच ओवेन, जोश इंग्लिश, एरोन हार्डी और जेवियर बार्लेट जैसे नाम हैं। मिच ओवेन ने अभी तक टीम जॉइन ही नहीं की थी।
चेन्नई सुपर किंग्स, जो पहले ही टूर्नामेंट से बाहर हो चुकी है, उसमें ऑस्ट्रेलिया के नेथन एलिस शामिल हैं। दिल्ली कैपिटल्स, जो अभी भी प्लेऑफ की रेस में बनी हुई है, उसमें मिचेल स्टार्क और जैक फ्रेजर मैकगर्क जैसे महत्वपूर्ण खिलाड़ी शामिल हैं। मिचेल स्टार्क की वापसी न होने से दिल्ली की गेंदबाजी लाइनअप पर असर पड़ सकता है।
कोलकाता नाइट राइडर्स में स्पेंसर जॉनसन, लखनऊ सुपर जायंट्स में मिचेल मार्श, रॉयल चैलेंजर्स बैंगलोर में टिम डेविड और जोश हेज़लवुड जैसे खिलाड़ी भी शामिल हैं। इनमें से कई खिलाड़ी अपनी टीमों के लिए महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहे हैं और उनकी गैरमौजूदगी टीम की परफॉर्मेंस को प्रभावित कर सकती है।
सनराइजर्स हैदराबाद पहले ही टूर्नामेंट से बाहर हो चुकी है, लेकिन टीम में पैट कमिंस, ट्रैविस हेड और एडम ज़म्पा जैसे खिलाड़ी मौजूद हैं। इन खिलाड़ियों का जाना हैदराबाद पर ज्यादा असर नहीं डालेगा, लेकिन बाकी टीमों के लिए यह एक बड़ी चुनौती बन सकती है।
क्या BCCI के सख्त नियम जायज़ हैं?
BCCI का कहना है कि लीग की गरिमा और निरंतरता बनाए रखने के लिए यह कदम जरूरी है। लीग में अचानक खिलाड़ियों के हटने से टीम की रणनीति पर असर पड़ता है और दर्शकों की उम्मीदें भी टूटती हैं। हालांकि, कुछ लोगों का यह मानना है कि नेशनल ड्यूटी हमेशा प्राथमिकता होनी चाहिए और ऐसे मामलों में खिलाड़ियों को बैन करने का फैसला कठोर हो सकता है।
आगे क्या होगा?
अब देखना यह होगा कि ऑस्ट्रेलियाई खिलाड़ी IPL 2025 में दोबारा शामिल होते हैं या नहीं। अगर वे नहीं लौटते, तो BCCI के नए नियमों के अनुसार उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई हो सकती है। वहीं, यदि क्रिकेट ऑस्ट्रेलिया अपने खिलाड़ियों को WTC फाइनल के लिए सुरक्षित रखना चाहता है, तो यह फैसला भी समझा जा सकता है।
IPL 2025 के शेष 17 मुकाबलों पर अब इन खिलाड़ियों की मौजूदगी या गैरमौजूदगी का सीधा असर पड़ेगा। ऐसे में यह देखना दिलचस्प होगा कि BCCI और विदेशी क्रिकेट बोर्ड्स इस स्थिति को कैसे हैंडल करते हैं।
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